संयुक्त अरब अमीरात के राष्ट्रपति महामहिम शैख मोहम्मद बिन जायद अल-नहयान के संरक्षण में
वैश्विक धार्मिक नेताओं का आगामी (सी.ओ.पी.28) शिखर सम्मेलन
अबू ज़हबी- नवंबर 6 – 7 2023
संयुक्त अरब अमीरात के राष्ट्रपति महामहिम शैख मोहम्मद बिन जायद अल-नहयान के संरक्षण में, मुस्लिम काउंसिल ऑफ एल्डर्स ने जलवायु परिवर्तन पर संयुक्त राष्ट्र फ्रेमवर्क कन्वेंशन (सी.ओ.पी.28) के पक्षकारों के 28वें सम्मेलन की अध्यक्षता के सहयोग से कैथोलिक चर्च और संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम, वैश्विक धार्मिक नेताओं के शिखर सम्मेलन’ की मेजबानी करेंगे जो 6 और 7 नवंबर 2023 को अबू जहबी में आयोजित होने वाला है।
शिखर सम्मेलन का उद्देश्य जलवायु संकट से निपटने में धार्मिक नेताओं की नैतिक जिम्मेदारियों पर चर्चा करना और साथ ही अनुभवजन्य साक्ष्य और आध्यात्मिक शिक्षाओं के बीच खलीज (गैप) को पाटने के लिए धर्म और विज्ञान के बीच सहयोग की खोज करना है। शिखर सम्मेलन सतत विकास प्राप्त करने में समुदायों को शामिल करने के तरीकों पर प्रकाश डालते हुए जलवायु न्याय में योगदान देने में धार्मिक नेताओं और हस्तियों की भूमिका बढ़ाने की रणनीतियों पर भी ध्यान केंद्रित करेगा। इसका उद्देश्य जलवायु परिवर्तन के बारे में जागरूकता बढ़ाने और देशों, संस्थानों और व्यक्तियों के बीच जिम्मेदारी और तत्काल आवश्यकता की भावना पैदा करने की दिशा में धार्मिक नेताओं के सामूहिक ज्ञान और महत्वपूर्ण प्रभाव का उपयोग करना और बनाए रखना है, जिसका अंतिम लक्ष्य जलवायु न्याय की ओर तेज गति के साथ बढ़ना है।
शिखर सम्मेलन में उच्च-स्तरीय प्रतिभागियों का एक विविध समूह भी शामिल होगा, जिसमें प्रमुख विद्वानों, विचारकों, प्रभावशाली युवा कार्यकर्ताओं और प्रभावशाली महिलाओं तथा स्वदेशी नेताओं के साथ-साथ विभिन्न धार्मिक पृष्ठभूमि के आस्था प्रतिनिधियों और नेताओं के साथ-साथ निजी क्षेत्र के
उल्लेखनीय लोग भी शामिल होंगे। इसका श्रेय संयुक्त राष्ट्र के महासचिव और अंतरराष्ट्रीय संगठनों के कई प्रतिनिधियों को जाता है।
शिखर सम्मेलन में सी.ओ.पी.28 के मनोनीत अध्यक्ष डॉ. सुल्तान अल जाबिर और विज्ञान, शिक्षा, व्यवसाय तथा विभिन्न क्षेत्रों के अन्य उच्च-स्तरीय प्रतिनिधियों के भाषण भी शामिल होंगे।
सम्मेलन का एजेंडा
सम्मेलन के वक्ता
सम्मेलन का अंतिम वक्तव्य
मुस्लिम काउंसिल ऑफ एल्डर्स (एमसीई) का परिचय:
मुस्लिम काउंसिल ऑफ एल्डर्स एक स्वतंत्र अंतरराष्ट्रीय संगठन है, जिसकी स्थापना 21 रमज़ान 1445 हिजरी अर्थात 11 अक्टूबर 2014 को हुई थी। काउंसिल का उद्देश्य मुस्लिमों और गैर-मुस्लिमों में शांति को बढ़ावा देना और सहिष्णुता, संवाद और सह-अस्तित्व के मूल्यों को विकसित करना और बढ़ाना है और अल-अजहर के ग्रैंड इमाम, महामहिम डॉ. अहमद अल-तैयब द्वारा इसकी अध्यक्षता की जाती है। इसमें मुस्लिम विद्वानों, विशेषज्ञों और नेताओं का एक समूह शामिल है जो अपने ज्ञान, न्याय, स्वतंत्रता और संयम के लिए जाने जाते हैं।
28वें संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन सम्मेलन (सी.ओ.पी.28) में आस्था मंडप:
वैश्विक धार्मिक नेताओं के शिखर सम्मेलन का आयोजन सी.ओ.पी.28 के मनोनीत अध्यक्ष डॉ. सुल्तान अल जाबिर के समक्ष सिफारिशें प्रस्तुत करने के लिए किया गया है, ताकि वे इन्हें 28वें संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन सम्मेलन (सी.ओ.पी.28) में पेश कर सकें, जिसकी मेजबानी 30 नवंबर से 12 दिसंबर, 2023 तक संयुक्त अरब अमीरात द्वारा की जाएगी।
“मुस्लिम काउंसिल ऑफ एल्डर्स”, सी.ओ.पी.28 प्रेसीडेंसी, संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम और कैथोलिक चर्च के सहयोग से ‘फेथ पवेलियन’ अर्थात आस्था मंडप का आयोजन करेगा, जो पार्टियों के सम्मेलन के इतिहास में पहली बार आयोजित होने वाला है। मंडप धार्मिक भागीदारी और अंतरधार्मिक संवाद के लिए एक वैश्विक मंच के रूप में काम करेगा, जिसका उद्देश्य पर्यावरणीय न्याय प्राप्त करने सहित वैश्विक चुनौतियों का सामना करने की योजनाओं में धार्मिक प्रतीकों और नेताओं को शामिल करके जलवायु संकट से निपटने के लिए और अत्यधिक प्रभावी उपाय करना है।
मानव बंधुत्व का दस्तावेज
4 फरवरी, 2019 को, पोप फ्रांसिस और अल-अजहर के ग्रैंड इमाम अहमद अल-तैयब ने दुनिया का ध्यान तब आकर्षित किया जब वे मानव भाईचारे के एक दस्तावेज़ पर हस्ताक्षर करने के लिए संयुक्त अरब अमीरात के अबू ज़हबी में मिले। यह दस्तावेज़ एक संयुक्त
घोषणा पत्र था जिसमें दुनिया के सभी लोगों से शांति का आग्रह किया गया था। दो महान धार्मिक हस्तियों के बीच भाईचारे की मित्रता से जन्मा यह दस्तावेज़ आस्थाओं के बीच संवाद और सहयोग की संस्कृति का खाका प्रदान करता है। घोषणा का उद्देश्य भविष्य की पीढ़ियों के लिए आपसी सम्मान की संस्कृति को आगे बढ़ाने के लिए एक मार्गदर्शक के रूप में काम करना है, यह मान्यता देते हुए कि हम सभी एक मानव परिवार के सदस्य हैं।